कहानी सलीम की Saleem Ki Story
कहानी सलीम की Saleem Ki Story----
Desi Story |
यह कहानी मेर की सलीम की है,
अब कहानी सलीम के ही शब्दों में सुनते है
दोस्तो, मेरा नाम सलीम है,
मैं उत्तर प्रदेश के मेरठ जिले का रहने वाला हूँ.
मेरी उम्र 19 साल हैं मेरे घर में मेरी अम्मी रुखसाना उम्र 45 साल और मेरी 1 बड़ी आपा नसरीन उम्र 23 साल है.
मेरे अब्बू का इन्तकाल 5 साल पहले एक बीमारी की वजह से हो गया था.
अम्मी एक स्कूल में टीचर की नौकरी करती है हमारे घर की आर्थिक स्थिति बस ठीक ठाक ही है, मतलब हमारी सिर्फ जरूरतें ही पूरी होती है.
मेरी आपा नसरीन हमेशा बुर्का पहनती थी चाहे वो घर में हो या घर से बाहर हो!
मैंने आपा को कभी भी बेअदब के कपड़ों में नहीं देखा था.
नसरीन आपा कॉलेज में पढ़ती थी और रोज सुबह अच्छी तरह से तैयार होकर बुरका पहनकर कॉलेज जाती थी.
वो एक गजब के जिस्म की मालकिन है, उसका फिगर 32 28 34 है और वो एकदम गोरी चिट्टी है. आपा के नैन नक्श बहुत ही कातिलाना हैं.
मतलब अगर कोई उसे बिना बुर्के के देख ले तो वो आपा की चूत फाड़ने की जरूर सोचेगा.
मेरी आपा मुझसे बहुत प्यार करती थी, वो मेरी हर छोटी बड़ी चीज़ का बखूबी ध्यान रखती थी.
मेरे कुछ दोस्त हैं जो बहुत बिगड़े हुए हैं. वो हर तरह का नशा और लोंडियाबाजी करते हैं.
तो उनकी संगत में मैं भी धीरे धीरे बिगड़ रहा था; अब मैं पढ़ाई से ज्यादा आवारा गर्दी में समय बिताता था.
मेरे दोस्त मेरी बहन नसरीन के ऊपर भी गन्दी नजर रखते थे.
ये बात मुझे बाद में पता चली थी.
खैर मेरी ज़िन्दगी के दिन ऐसे ही निकल रहे थे.
मेरे दोस्त रोज नई लड़कियों को लाकर चोदते थे.
उन्हें देखकर मेरा भी मन चुदाई करने को करता था.
एक दिन हम सारे दोस्त ऐसे ही घूम रहे थे तो मैंने मेरे एक जिगरी दोस्त पंकज से कहा- यार, मुझे भी चुदाई करनी है!
तो पंकज ने मुझसे कहा- चुदाई करने के पैसे लगते हैं. हम ये लड़कियां कोठे से लाते हैं, फिर उनकी चुदाई करते हैं. अगर तेरे पास पैसे हों तो बता … तेरे लिए भी किसी मस्त माल का इन्तजाम कर देंगे.
मैंने पंकज से पूछा- कितने रूपए लगते हैं?
तो उसने कहा- बढ़िया जवान सुंदर लड़की के 1 बार के 10 हजार लगेंगे. वैसे इससे सस्ती औरतें भी मिलती हैं.
यह सुनते ही मेरी गांड फट गयी क्यूंकि 10 हजार का इन्तजाम करना मेरे लिए नामुमकिन था.
मैं उदास हो गया.
मेरा उदास चेहरा देखकर पंकज बोला- क्या हुआ?
मैंने कहा- यार. मैं 10 हजार का इन्तजाम नहीं कर सकता!
तो पंकज ने कहा- चल मैं कुछ सोचकर तुझे बताऊंगा.
और फिर वो चला गया.
2 दिन बाद पंकज ने मुझे अकेले मिलने के लिए बुलाया.
जैसे ही मैं उसके पास पहुंचा, उसने मुझसे कहा- सलीम, तू बता तू कितने रूपए दे सकता है?
तो मैंने उससे कहा- मैं ज्यादा से ज्यादा 1 हजार दे सकता हूँ!
यह सुनकर पंकज ने कहा- यार 1 हजार तो बहुत कम हैं. लेकिन एक तरीका है. मैं तुझे किसी से मिलवाता हूँ, वो लड़का पैसे उधर देता है. तू हर महीने 1 हजार रूपए उसे दे देना. ऐसे तेरा सारा कर्ज भी उतर जायेगा और तुझे चुदाई करने को भी मिल जाएगी.
तो मैंने सोचा कि ये आईडिया अच्छा है. मैं धीरे धीरे करके सारा पैसा लौटा दूंगा.
मैं कुछ सोचकर पंकज को बोला- चल उनके पास चलते हैं.
तो हम दोनों चल दिए.
थोड़ी देर बाद पंकज मुझे अपने घर ले गया.
मैंने पूछा- मुझे यहाँ क्यों लाया है तू?
तो उसने कहा कि उसके भैया पैसे उधर देते हैं.
तब मैंने सोचा कि चलो ये तो अपने भैया हैं, कोई परेशानी होगी तो संभाल लेंगे.
अब मैं आपको पंकज के भैया के बारे में बता देता हूँ.
उनका नाम जसवंत है, उनकी उम्र 35 साल के आस पास है.
उनकी शादी नहीं हुई है लेकिन वो हमारे मोहल्ले के गुंडे हैं.
मतलब सबकी उनसे फटती है.
लेकिन वो शुरू से ही मुझसे बहुत प्यार से बात करते थे, हमेशा मेरे परिवार के बारे में पूछते रहते थे...
वो तो मुझे बाद में पता चला कि वो मेरी आपा के ऊपर नजर बनाये हुए थे.
खैर जैसे ही हम दोनों जसवंत भैया के पास पहुंचे तो पंकज ने मुझे जसवंत भैया से मिलवाया.
मैंने उनसे सलाम करके पंकज को इशारा किया.
पंकज ने अपने भैया से बोला- भैया, सलीम के कुछ रूपए उधार चाहियें!
तो जसवंत भैया ने मुझसे पूछा- कितने रूपए चाहियें?
मैंने कहा- मुझे 10 हजार रूपए चाहियें.
भैया ने मुझसे पूछा- इतने रूपए क्यूं चाहियें?
तो मैंने पंकज की तरफ देखा.
पंकज ने मुस्कुराकर अपने भैया की तरफ देखा और उन्हें इशारा कर दिया.
फिर जसवंत भैया ने मुझसे कुछ और नहीं पूछा.
भैया ने मुझसे कहा- मैं तुझे रूपए तो दे दूंगा मगर मुझे वापसी में 12 हजार रूपए चाहियें. और तुझे सारे रूपए 3 महीने में वापस करने पड़ेंगे.
3 महीने का सुनकर मैं चौंक गया.
तो पंकज ने मुझे इशारा किया और जसवंत भैया से बोला- ठीक है भैया, सलीम 3 महीने में रूपए दे देगा.
मगर इससे पहले मैं पंकज से कुछ कह पाता, उसने इशारे से मुझे चुप रहने को बोल दिया.
फिर जसवंत भैया ने मुझे कुछ पेपर दिए और मुझे दस्तखत करने को बोला.
मैंने हस्ताक्षर कर दिए.
फिर उन्होंने उस पेपर पर मेरे अंगूठे का निशान भी ले लिया.
चूँकि मुझे जसवंत भैया पर भरोसा था तो मैंने वो पेपर नहीं पढ़ा लेकिन कहीं न कही मुझे ये भी पता था कि जसवंत भैया गुंडे हैं, अगर मैं समय पर पैसा नहीं दे पाया तो ये पता नहीं मेरे साथ क्या करेंगे.
मगर मुझे पंकज पर भरोसा था कि वो सब संभाल लेगा.
फिर जसवंत भैया ने मुझे 10 हजार रूपए दिए.
मैंने पैसे ख़ुशी ख़ुशी ले लिए और मैं वापस घर आ गया.
अगले दिन पंकज का मुझे फ़ोन आया कि उसने एक लड़की का इन्तजाम कर लिया है.
यह सुनकर मैं ख़ुशी से पागल हो गया क्यूंकि आज मुझे ज़िन्दगी में पहली बार चूत मिलने वाली थी.
दोपहर को मैंने पंकज से मिलकर सारा प्लान समझ लिया.
प्लान के मुताबिक मुझे आज रात पंकज के घर रुकना था.
तो मैंने अपनी अम्मी से झूट बोल दिया- मेरे दोस्त का जन्मदिन है तो मैं आज रात उसी के पास रुकूंगा.
अम्मी ने भी ज्यादा मना नहीं किया और मुझे जाने की इजाजत मिल गयी.
शाम को तय मुताबिक मैं पंकज के घर आ गया.
वहाँ बस पंकज था.
मैंने उससे उस लड़की के बारे में पूछा.
तो उसने बोला- बस थोड़ी देर में वो लड़की आने वाली है.
खैर थोड़ी देर बाद एक सुन्दर सी लड़की आई और आते ही उसने पंकज को गले लगाया और उसे किस करने लगी.
थोड़ी देर बाद पंकज ने मुझे उससे मिलवाया तो उसने मुझे भी गले से लगा लिया. उसका नाम हानिया था, वो लगभग 22 साल के आस पास की थी और देखने में खूबसूरत थी.
हम तीनों थोड़ी देर ऐसे ही बात करने लगे.
फिर पंकज ने मुझे इशारा किया तो मैं और हानिया दूसरे कमरे में चले गए.
कमरे में जाते ही मैंने दरवाजे की कुण्डी लगा दी.
इतने में मैंने देखा कि हानिया बिस्तर पर बैठी थी.
मैं भी जाकर बिस्तर पर बैठ गया.
मेरी गांड फट रही थी क्यूंकि मैं पहली बार सेक्स करने जा रहा था और मुझे ज्यादा कुछ पता नहीं था इसलिए मैं चुप था.
थोड़ी देर बाद हानिया ने पूछा- लगता है तुम्हारा पहली बार है?
मैंने बस हाँ में गर्दन हिला दी.
तो हानिया ने मेरा चेहरा पकड़ा और मुझे किस करना शुरू कर दिया.
वैसे तो ये मेरा पहला किस था लेकिन मुझे जो मज़ा आ रहा था वो मैं ज्यादा शब्दों में बयां नहीं कर सकता.
हानिया के गुलाबी होंठों को चूसने में जो मज़ा आ रहा था बस क्या ही बताऊं!
फिर अचानक से मेरे हाथ हानिया के बूब्स पर चले गए और मैंने उसने बूब्स दबाने शुरू कर दिए जिसका हानिया ने कोई विरोध नहीं किया और वो मज़े से मुझसे बूब्स दबवाने लगी.
हानिया तो बस मुझे किस किये जा रही थी.
फिर मैंने उसके होंठों से होंठ छुड़ाकर उसकी गर्दन पर किस करना शुरू कर दिया, जिससे हानिया की सिसकारियाँ निकलनी शुरू हो गयी.
हानिया बस आह्ह ऊसस उफ्फ करे जा रही थी.
अब मैंने हानिया की टीशर्ट उसके जिस्म से अलग कर दी.
हानिया अब बस ब्लू कलर की ब्रा और सफ़ेद रंग की जींस में थी.
उसके बूब्स लगभग 32 के होंगे.
हानिया एकदम गोरी चिट्टी थी. हानिया को देखकर एक बार मुझे लगा कि अगर हानिया इतनी गोरी है तो मेरी नसरीन आपा कितनी ज्यादा गोरी होगी.
फिर मैंने अपना ध्यान हानिया पर लगाना ठीक समझा.
इतने में हानिया ने मेरी टीशर्ट निकाल दी और फिर उसने मेरी जींस भी निकाल दी.
अब मैं हानिया के सामने सिर्फ चड्डी में था.
फिर जैसे ही मैंने हानिया की जींस निकालने की कोशिश की तो हानिया ने मुझे रोक दिया और बोली- अभी इतनी भी ज्यादा जल्दी है … थोड़ा सब्र रखो.
यह बोलकर हानिया ने मुझे बिस्तर पर लेटा दिया और मेरी चड्डी मेरे जिस्म से अलग करके मुझे मादरजात नंगा कर दिया.
उस वक़्त मेरा लंड पूरी तरह से खड़ा हुआ था.
मेरा लंड 6 इंच का था जिसे देखकर हानिया की ह्ल्की सी हंसी निकल गयी.
मगर वो मेरा लंड अपने हाथ से सहलाने लगी.
फिर थोड़ी देर बाद हानिया ने मेरा लंड मुंह में लिया और चूसना शुरू कर दिया.
अब मैं तो सच में अलग ही दुनिया में था. मुझे नहीं पता कि मेरे साथ क्या हो रहा था मगर मज़ा बहुत आ रहा था.
फिर थोड़ी देर लंड चुसवाने के बाद मैंने हानिया को अपने ऊपर लेटा लिया और उसे किस करने लगा.
मेरे दोनों हाथ हानिया की गांड चूतड़ सहलाने में व्यस्त थे.
फिर मैंने हानिया को सीधा खड़ा किया और उसकी जींस निकाल दी.
अब हानिया सिर्फ नीली ब्रा और पैंटी में थी और वो सच में बहुत गज़ब लग रही थी.
मैं उसके सामने पूरी तरीके से नंगा पड़ा हुआ था.
हानिया की अदाएं मेरा लंड खड़ा करने के लिए काफी थी.
मैंने हानिया को अपने ऊपर लेटा लिया और उसको किस करना शुरू कर दिया.
फिर मैंने हानिया की गांड उसकी पैंटी के ऊपर से सहलानी शुरू कर दी और मैं उसके पूरे जिस्म को अपने हाथ से सहला रहा था.
इसके बाद मैंने अपने हाथ हानिया की कमर में ले जाकर उसकी ब्रा उसके जिस्म से अलग कर दी.
ब्रा के अलग होते ही हानिया की गोल-गोल बूब्स निकल कर सामने आ गए जिन्हें देखकर तो मैं बावला हो गया और मैंने उसके ऊपर हमला कर दिया.
अब मैं उसके बूब्स चाट रहा था और सहला भी रहा था.
उसके भूरे निप्पल मुझे बहुत ज्यादा आकर्षित कर रहे थे. उसके बूब्स देखकर ऐसा लग रहा था जैसे आसमान से कोई परी उतर आई हो और मैं उसके बूब्स चूस रहा हूं!
थोड़ी देर उसके बूब्स चूसने के बाद मैंने उसको अपने से अलग करके बिस्तर पर लेटा दिया और उसके ऊपर चढ़कर उसको किस करने लगा.
धीरे-धीरे उसके बूब्स चूसते हुए मैं उसकी नाभि तक पहुंच गया.
मैंने जैसे ही उसकी नाभि में जीभ डाली, उसके मुंह से जोर की आह उह निकली.
फिर मैंने धीरे धीरे और नीचे जाते हुए पैंटी के ऊपर से ही उसकी चूत पर किस कर दिया.
और फिर मैं और नीचे जाने लगा और धीरे-धीरे उसकी जांघों को चाटने लगा.
अब हानिया को बर्दाश्त करना बहुत मुश्किल हो रहा था. उसके मुंह से लगातार अआह उफ्फ की आवाज आ रही थी.
हानिया मेरे सर को पकड़कर मेरा मुंह अपनी चूत में घुसा देना चाहती थी.
मैं यह बात समझ चुका था तो मैंने अपने दोनों हाथ उसकी पैंटी के इलास्टिक में डालकर उसकी पैंटी उसकी जिस्म से अलग कर दी.
मैंने देखा कि हानिया की चूत एकदम चिकनी हुई पड़ी है, उसकी चूत पर एक छोटा सा बाल भी नहीं था.
उसकी चूत हल्के भूरे रंग की सी थी जिसे देखकर मेरा मुंह में पानी आ गया.
मैंने अपना मुंह हानिया की चूत में लगा दिया और उसकी चूत को चाटना शुरू कर दिया.
हानिया अब जोर जोर से आह आहह हहह ह्हह उफ की आवाजें निकाल रही थी.
थोड़ी देर चूत चटवाने के बाद हानिया ने मुझे रोक दिया और हम दोनों 69 की पोजीशन में ओरल सेक्स करने लगे.
मैं उसकी चूत चाट रहा था और हानिया मेरा लंड चूस रही थी.
थोड़ी देर के बाद मैं उसके मुंह में धक्के देने लगा और मैंने सारा पानी उसके मुंह में ही छोड़ दिया जो हानिया ने पूरा पी लिया.
फिर मैंने उसकी चूत चाटनी बंद कर दी और हानिया को अपने बगल में लेटा दिया
कहानी जारी है
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